ज़खà¥à¤® था ज़खà¥à¤® का निशान à¤à¥€ था
दरà¥à¤¦ का अपना इक मकान à¤à¥€ था
दोसà¥à¤¤ था और मेहरबान à¤à¥€ था
ले रहा मेरा इमà¥à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¨ à¤à¥€ था
शेयरों में गज़ब़ उफान à¤à¥€ था
करà¥à¤œà¤¼ में डूबता किसान à¤à¥€ था
आस थी जीने की अà¤à¥€ बाकी
रासà¥à¤¤à¥‡ में मगर मसान à¤à¥€ था
कोई काम आया कब मà¥à¤¸à¥€à¤¬à¤¤ में
कहने को अपना ख़ानदान à¤à¥€ था
मर के दोज़ख मिला तो समà¤à¥‡ हम
वाकई दूसरा जहान à¤à¥€ था
उमà¥à¤° à¤à¤° साथ था निà¤à¤¾à¤¨à¤¾ जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚
फ़ासिला उनके दरमियान à¤à¥€ था
ख़à¥à¤¦à¤•à¥à¤¶à¥€ 'शà¥à¤¯à¤¾à¤®''कर ली कà¥à¤¯à¥‹à¤‚ तूने
तेरी क़िसà¥à¤®à¤¤ में आसमान à¤à¥€ था
शायर - शà¥à¤¯à¤¾à¤®
दरà¥à¤¦ का अपना इक मकान à¤à¥€ था
दोसà¥à¤¤ था और मेहरबान à¤à¥€ था
ले रहा मेरा इमà¥à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¨ à¤à¥€ था
शेयरों में गज़ब़ उफान à¤à¥€ था
करà¥à¤œà¤¼ में डूबता किसान à¤à¥€ था
आस थी जीने की अà¤à¥€ बाकी
रासà¥à¤¤à¥‡ में मगर मसान à¤à¥€ था
कोई काम आया कब मà¥à¤¸à¥€à¤¬à¤¤ में
कहने को अपना ख़ानदान à¤à¥€ था
मर के दोज़ख मिला तो समà¤à¥‡ हम
वाकई दूसरा जहान à¤à¥€ था
उमà¥à¤° à¤à¤° साथ था निà¤à¤¾à¤¨à¤¾ जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚
फ़ासिला उनके दरमियान à¤à¥€ था
ख़à¥à¤¦à¤•à¥à¤¶à¥€ 'शà¥à¤¯à¤¾à¤®''कर ली कà¥à¤¯à¥‹à¤‚ तूने
तेरी क़िसà¥à¤®à¤¤ में आसमान à¤à¥€ था
शायर - शà¥à¤¯à¤¾à¤®